Muskaanein Jhooti Hai Sargam Notes

Muskaanein Jhooti Hai Super Easy Sargam Notes | Talaash

अगर आप बांसुरी बजाते है तो बांसुरी का स्केल होगा :- B

रात में ही जागते हैं

ग—ध़–सा–रे– ग—ध़–सा–रे–

ये गुनाहों के घर

ग—रे–म–ग–रे–ग—

इनकी राहें खोले बाहें

ग—ध़–सा–रे– ग—ध़–सा–रे–

जो भी आए इधर

ग—रे–प–म–रे–ग—

आ हा…

ग—ध—-नि—ध(k)—

आ हा…

ग—प—-ध—म(t)—

ये है गुमराहों का रास्ता

ग–ग–प–म–ग–रे–सा–ग–ऩि—

मुस्कानें झूठी हैं

ध़–ऩि–ध़–सा–ध़–ध़—

पहचानें झूठी हैं

ध़–ऩि–ध़–सा–ध़–ध़—

रंगीनी है छाई

ध़–ऩि–ध़–रे—ग(k)—ग—

फिर भी है तन्हाई

ध़–ऩि–ध़–सा–ध़–ध़—

कल इन्हीं गलियों में

ग–म–ग–प–म–ग–

इन मसली कलियों में

ग–म–ग–प–म–ग–

तो ये धूम थी

ऩि—सा–रे–म–ग—

जो रूह प्यासी है

ग–म–ग–प–म–ग–

जिसमें उदासी है

ग–म–ग–प–म–ग–

वो है घूमती

ऩि—सा–रे–म–ग—

सबको तलाश वही

ग–रे–सा–ऩि–ध़–ऩि–ध़(k)—

समझे ये काश कोई

म–ग–रे–सा–रे–म–ग—

ऊह ऊह…

गं–रें–सां–नि–ध–नि–ध(k)—

ऊह ऊह…

मं–गं–रें–पं–मं–रें–गं—

आ हा…

ग—ध—-नि—ध(k)—

आ हा…

ग—प—-ध—म(t)—

ये है गुमराहों का रास्ता

ग–ग–प–म–ग–रे–सा–ग–ऩि—

मुस्कानें झूठी हैं

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

पहचानें झूठी हैं

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

रंगीनी है छाई

ध–नि–ध–रें—गं(k)—गं—

फिर भी है तन्हाई

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

हल्के उजालों में

ग–म–ग–प–म–ग–

हल्के अंधेरों में

ग–म–ग–प–म–ग–

जो इक राज़ है

ऩि—सा–रे–म–ग—

क्यूं खो गया है वो

ग–म–ग–प–म–ग–

क्या हो गया है कि

ग–म–ग–प–म–ग–

वो नाराज़ है

ऩि—सा–रे–म–ग—

ऐ रात इतना बता

ग–रे–सा–ऩि–ध़–ऩि–ध़(k)—

तुझको तो होगा पता

म–ग–रे–सा–रे–म–ग—

ऊह ऊह…

गं–रें–सां–नि–ध–नि–ध(k)—

ऊह ऊह…

मं–गं–रें–पं–मं–रें–गं—

आ हा…

ग—ध—-नि—ध(k)—

आ हा…

ग—प—-ध—म(t)—

ये है गुमराहों का रास्ता

ग–ग–प–म–ग–रे–सा–ग–ऩि—

मुस्कानें झूठी हैं

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

पहचानें झूठी हैं

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

रंगीनी है छाई

ध–नि–ध–रें—गं(k)—गं—

फिर भी है तन्हाई

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

मुस्कानें झूठी हैं

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

पहचानें झूठी हैं

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

रंगीनी है छाई

ध–नि–ध–रें—गं(k)—गं—

फिर भी है तन्हाई

ध–नि–ध–सां–ध–ध—

Comments

No comments yet. Why don’t you start the discussion?

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *